सिद्धार्थनगर: 31/01/2024
प्रदेश की योगी सरकार द्वारा जिले के उद्योगों व रोजगार को बढ़ावा देने के लिए एक जिला एक उत्पाद (ओडीओपी) योजना लाया गया और सिद्धार्थनगर जिले में ओडीओपी योजना के अंतर्गत काला नमक चावल को चिंहित किया गया।शुरुआत में वन डिस्ट्रिक्ट वन प्रोडक्ट में आने पर काला नमक चावल को जबरदस्त ब्रांडिंग के साथ तीन साल में तीन गुना काला नमक चावल के पैदावार मे भी वृद्धि हुई है लेकिन अब अधिक पैदावार किसानों के लिए समस्या बनता जा रहा है अब काला नमक चावल के अधिक पैदावार के बाद किसानो को इसके खरीदार नही मिल रहे हैं। इसका असर जिले के पांच दिवसीय सिद्धार्थनगर महोत्सव में लगने वाला किसान गोष्ठी में भी दिखा और इसी को लेकर प्रशासन ने इस बार के किसान गोष्ठी में किसानों को बुलाया गया और इस गोष्टी में कृषि मंत्री सूर्य प्रकाश शाही भी शामिल हुए लेकिन किसान इस गोष्ठी में पहुँचे ही नही और कार्यक्रम में अधिकतर कुर्सियां खाली ही रही। कृषि मंत्री ने मंच से ओडीओपी के काला नमक चावल को लेकर बहुत कुछ कहा लेकिन इन बातों को सुनने के लिए किसानों की संख्या न के बराबर दिखी जिसमें कहीं न कहीं प्रशासन के ओडीओपी के काला नमक चावल के प्रति लापरवाही को उजागर करता है आपको बता दें काला नमक चावल का इतिहास कम से कम 600 ईसा पूर्व बुद्ध काल का है प्राचीन काल में यह चावल मूल रूप से उत्तर प्रदेश और नेपाल के तराई क्षेत्र में उगाया जाता था लेकिन अब यह सर्वाधिक सिद्धार्थनगर ,संतकबीरनगर , महाराजगंज,बस्ती ,गोंडा और कुशीनगर जिले भी शामिल है। सरकार काला नमक चावल का बढ़ावा तो दे रही है लेकिन जमीनी स्तर पर देखने को नहीं मिल रहा है यहाँ तक कि सिद्धार्थनगर महोत्सव में काला नमक चावल का प्रदर्शनी लगाया गया है लेकिन किसी भी तरह का भीड़ भाड़ देखने को नहीं मिला काउंटर एक दम खाली दिखाई पड़ रहे है।जब कि वही काला नमक चावल को लेकर एफपीओ के सीईओ राहुल प्रकाश से बात किया गया तो उनका कहना है कि लोग काला नमक चावल की खेती करना नही चाह रहे है और काला नमक चावल के फायदे के बारे में भी जानकारी दी कहा कि काला नमक चावल में आयरन और जिंक की मात्रा अधिक होती है काला नमक चावल में पोषक तत्व मिलते है और कहे कि अगर काला नमक चावल की अच्छी मार्केटिंग हो जाय तो किसान ज्यादा से ज्यादा संख्या में काला नमक धान बैठना शुरू कर देंगे ।